खून का रंग

काश हर कोई इस बात को
अच्छे से जान पाता !
की खून का रंग सच मै 
सबका लाल है होता  !
तो ये मज़हब के नाम से 
खिंची गई दीवारे ,
इतनी मजबूत तो.... 
हरगिज़ न हो पाती !
हर इंसा एक दुसरे 
की जान का दुश्मन 
 इस कदर  न होता !
अगर वो इस बहते खून की 
कीमत जो  समझता ............
अपने अज़ीज़ दोस्तों पे हरदम 
जुल्म यु  न करता ..............
नाम धरम का लेकर किसी को 
तडपते न देखता ..............
अपने लहू को उससे मिलाकर 
एक मिसाल कायम ही वो करता 
सारे धरम के ठेकेदारों की 
जुबान पर एक ताला लगा 
 देश मै अमन की ............ 
एक मिसाल कायम करता !
हर  मजहब को एक सूत्र 
मै बांध कर ..............
अपने सफ़र का...............
फिर  यु आगाज़ करता !
काश हर कोई अपने इस .........
खून की कीमत ..........
को जान पाता !
फिर सारे देश को एक ही 
बंधन मै बांध जाता !

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